शिवशंकर भोले!
>> Wednesday, March 5, 2008
जग के खिवैया
पार लगा दो मेरे
जीवन की नैया
बहुत भटका जग में
बहुत भरम खाया
तुम्हारी शरण में
कभी आ ना पाया
आया हूँ लेकर ये
टूटी सी नैया…..
पार लगा दो मेरी
जीवन की नैया
तुम हो प्रभु मेरे
भोले भंडारी
करदो कृपा अपनी
शरण हूँ तिहारी
दुनिया की ठोकर से
जर्जर है नैया….
पार लगा दो मेरे
जीवन की नैया
दर पर मैं आई
आँखों में आँसू औ
दिल में दुहाई
दे दो दरस प्रभु
पड़ती हूँ पँइया…
पार लगा दो मेरी
जीवन की नैया
3 comments:
महाशिवरात्रि की हार्दिक बधाई..सुन्दर प्रार्थना.
jai bum bhole jee, shiv ratri kee mubaarak baad abhee hee de detein hain kal shaayad bhang khaane ke baad na yaad rahe.
Sache mann se ki gayi prarthana kabhi vifal nahi hoti. Shraddha aur Dheeraj hona bahot jaroori hai...
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